Essay on Republic Day in Hindi | गणतंत्र दिवस पर निबंध
Essay on Republic Day in Hindi गणतंत्र
दिवस को भारत के राष्ट्रीय पर्व के तौर पर मनाया जाता है यह राष्ट्रीय पर्व पर हर
वर्ष 26 जनवरी वाले दिन पूरे देश भर में
मनाया जाता है। इस दिन भारत का संविधान लागू हुआ इस दिन भारत को गणतंत्रिक राष्ट्र
घोषित कर दिया गया था। भारत को सन 1947 में
अंग्रेजों से मुक्ति मिली इसके बाद भी भारत एक स्वशासित देश नहीं था। लगभग 3 वर्षों के बाद सन् 1950
मैं भारत का संविधान बना
जिससे भारत एक संघ शासित देश बन पाया। इसीलिए हर वर्ष इस दिन को रिपब्लिक डे या
फिर गणतंत्र दिवस के रूप में धूमधाम से पूरे देश में मनाया जाता है।
गणतंत्र
दिवस के अवसर पर 26 जनवरी को नई दिल्ली के इंडिया गेट के
राजपथ पर होने वाली परेड बहुत खास होती है। गणतंत्र दिवस की परेड वह मौका होता है
जब देश के विभिन्न राज्य देश विदेश के लोगों को अपने प्रदेश की कला संस्कृति , गौरवशाली
इतिहास , समृद्ध विरासत और विकास को झांकियों के माध्यम से दिखाते हैं।
इसके
साथ ही केंद्र सरकार के विभिन्न मंत्रालय भी अपने विभागों की बड़ी उपलब्धियों को इन
के द्वारा दिखाते हैं किंतु इस वर्ष सिर्फ एक ही थीम होने के कारण राज्यों के
सामने इस बार बड़ी चुनौती है क्योंकि महात्मा गांधी की 150 वीं जयंती के अनोखे ढंग से झांकी में प्रस्तुत करना बहुत कठिन काम है।
हर बार रिपब्लिक
डे परेड में राजपथ पर विभिन्न राज्य अपनी कला विकास और संस्कृति की झलकियां दिखाने
का प्रदर्शन करते हैं किंतु झांकी में शामिल होने के लिए रक्षा मंत्रालय की तरफ से
बनाई गई झांकी चयन की विशेषज्ञ समिति के सामने तमाम राज्यों
को अपने राज्य की झांकी का प्रेजेंटेशन देना पड़ता है इस समिति में सेना के
अधिकारी कला संस्कृति जानकार और कला की दुनिया से आने वाले बड़े कलाकार शामिल होते
हैं।
खास बात
यह है कि झांकियों की यह प्रक्रिया 15 अगस्त के बाद से आरंभ हो जाती है जो कई दौर के बाद जनवरी के पहले हफ्ते में
पूरी की जाती है। भारतीय संविधान को सम्मान देना हर भारतीय नागरिक का कर्तव्य बनता
है हर साल भारत में रिपब्लिक डे अर्थात
गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है भारतीय संविधान ने साल 1935 के अधिनियम को बदल कर खुद को भारत के संचालक दस्तावेज के रूप में स्थापित
किया था इस दिन को भारतीय सरकार द्वारा राष्ट्रीय अवकाश के रूप में घोषित किया गया
भारतीय संविधान सभा द्वारा नए भारतीय संविधान की रूपरेखा तैयार हुई और स्वीकृति
मिली इस तरह भारत के गणतंत्र देश बनने की खुशी में इसे हर साल 26 जनवरी को मनाने की घोषणा तय हुई।
सन 1950 में भारत को अपना संविधान मिला भारतीय संविधान की सबसे बड़ी खूबसूरती यह है
कि इसे तैयार करते समय सांस्कृतिक , धार्मिक और भौगोलिक विविधता का ध्यान रखा गया
था साथ ही किसी भी तरह के भेदभाव को अवैधानिक करार दिया गया चाहे वह धर्म के आधार
पर हो जाति , लिंग , जन्म और राष्ट्रीयता के आधार पर इसके निर्माण में मुख्य रूप से जवाहरलाल
नेहरू , वल्लभभाई पटेल , राजेंद्र प्रसाद , अबुल कलाम आजाद , अंबेडकर आदि लोगों की
महत्वपूर्ण भूमिका रही है।
रिपब्लिक
डे पर निकलने वाली कई प्रकार की झांकियां सदा से आकर्षित करती रही है इसमें स्कूली
बच्चे भी बढ़ चढ़कर हिस्सा लेते हैं यह दिन इस मायने में भी खास माना जाता है कि
देश के बहादुर बच्चों को हर साल बहादुरी के पुरस्कार से नवाजा जाता है परंपरा रही
है जो अन्य बच्चों को भी बहादुर बनने के लिए प्रेरित करती है महाराणा प्रताप , वीर
कुंवर सिंह , शिवाजी . सुभाष चंद्र बोस , चंद्रशेखर आजाद , रानी लक्ष्मी बाई आदि
अनेक वीर सपूत इस धरती पर हुए हैं जिनकी बहादुरी के किस्से हमें बार-बार पढ़ने
चाहिए।
गणतंत्र
दिवस के दिन हमारे भारत का संविधान लागू हुआ था संविधान ने हमें अनेक अधिकार
प्रदान किए अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पाने का अधिकार , धार्मिक स्वतंत्रता का
अधिकार संविधान हमें अनुशासन का पाठ पढ़ाता है हमें कायदा सिखाता है जीवन में
उन्नति और सफलता प्राप्त करने हेतु अनुशासन अत्यंत जरूरी है।
डॉक्टर
भीमराव अंबेडकर जी के विशेष योगदान के साथ कई विद्वानों ने देश का संविधान तैयार
करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया इसके निर्माण में 2 वर्ष 11 महीने 18 दिन का वक्त लगा था यह 26 जनवरी 1950 के दिन देश में लागू किया गया इसीलिए हर वर्ष 26 जनवरी को ही रिपब्लिक डे अर्थात गणतंत्र दिवस मनाया जाता है।
गणतंत्र
दिवस का उत्सव केवल भारत में ही नहीं बल्कि संसार के डेढ़ सौ से अधिक देशों के नाम
में गणतंत्र शब्द जुड़ा हुआ है यह सामूहिक की भावना के साथ साथ नैतिक मूल्यों का
उत्सव है। केन्या देश में गणतंत्र दिवस हर साल 12 दिसंबर को मनाया जाता है अपनी ऐतिहासिक विशेषता की वजह से यह वहां का
महत्वपूर्ण राष्ट्रीय पर्व होता है इसे जम्हूरि देश के रूप में भी जाना जाता है
पूर्वी अफ्रीका के इस देश में गणतंत्र दिवस जलाई किंग्डम के 70 औपनिवेशिक शासन से मुक्ति और गणतंत्र घोषित होने के जश्न के रूप में एक दिन
के लिए मनाया जाता है यह केन्या का
राष्ट्रीय अध्यक्ष भी होता है रोचक बात यह है कि यदि 12 दिसंबर को रविवार का दिन हो तो उसके अगले दिन यानी सोमवार को सार्वजनिक
अवकाश दे दिया जाता है इस दिन वहां भोज, भाषण के अलावा परेड भी देखने को मिलती है।
संसार
का सबसे युवा गणतंत्र नेपाल इस 28 मई को गणतंत्र दिवस का जशन मनाएगा 28
मई 2008 को वहां की संविधान सभा ने नेपाल को
संघीय लोकतांत्रिक देश घोषित कर दिया गया था ये दिवस नेपाल से राजशाही के समाप्त
होने की खुशी में देश भर में मनाया जाता है आधुनिक नेपाल की उत्पत्ति 1768 मैं हुई थी जब पृथ्वी नारायणसामी काठमांडू घाटी पर कब्जा कर लिया और एक देश
के बैनर के तहत एकीकृत निजी आदि राज्यों को जीत लिया।
सन 1986 में द्वितीय विश्व युद्ध से बाहर होने के पश्चात एक संस्थागत जनमत संग्रह
इटली में आयोजित किया गया ताकि फासीवाद खत्म होने के पश्चात नागरिकों के द्वारा
प्रशासन का निर्माण किया जा सके। हर वर्ष 2 जून को इटली में गणतंत्र दिवस का आयोजन किया जाता है।
हमारा
गणतंत्र विविधता में एकता की अनोखी मिसाल है संसार में पाए जाने वाले हर धर्म के
लोग जहां एक साथ रहते हैं प्रकृति ने भी हर मौसम का आनंद लेने का अवसर हमें दिया
है ऐसे में हमारा संविधान देश के हर नागरिक को समानता का अधिकार देता है किंतु एक
सुंदर गणतंत्र बन पाने से हम अभी दूर है संविधान में मिले अधिकारों को लोगों तक
पहुंचाने में तुम बच्चों की भूमिका भी महत्वपूर्ण रहने वाली है
राष्ट्रीय
बाल वीरता पुरस्कार - राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार भारत में हर वर्ष 26 जनवरी की पूर्व संध्या पर बहादुर बच्चों को दिए
जाते हैं इन पुरस्कारों का आरंभ भारतीय बाल कल्याण परिषद ने सन 1957 में किया था। पुरस्कार के रूप में एक पद का प्रमाण पत्र और नगद राशि दी
जाती है सभी बच्चों को स्कूल की पढ़ाई पूरी होने तक आर्थिक मदद भी की जाती है इसके
अंतर्गत भारती पुरस्कार गीता चोपड़ा पुरस्कार संजय चोपड़ा पुरस्कार बापू गांधी जी पुरस्कार
राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार 5 तरह के पुरस्कार दिए जाते हैं खास बात
यह है कि बच्चे गणतंत्र दिवस की परेड में भी शामिल हो जाते हैं।
संविधान
को लागू करने में देश के कई महापुरुषों ने अपना अहम योगदान दिया और महापुरुषों को
नमन करने के साथ - साथ यह दिवस हमें अपने कर्तव्यों की याद भी दिलाता है आओ हम सभी
मिलकर मनाएं गणतंत्र दिवस।
भारत
विश्व का सबसे बड़ा गणतंत्र का देश है यह सभी धर्मों समुदाय के लोग मिलजुल कर रहते
हैं यही बात हमारे राष्ट्र को संसार समुदाय में सबसे ऊंचा स्थान दिलाती है गणतंत्र
दिवस वह दिन है जब भारत को अपना संविधान प्राप्त हुआ जहां के नागरिकों को अपना
कानून और अधिकार मिला था इस दिन को लाकर तब के हमारे महान नेताओं ने अपनी
जिम्मेदारी तो पूरी की अब इसे संभालने और सहजने की वारी हम सब की है अगर हम खुद ही
अनुशासित रहना सीख रहे हो घर स्कूल के नियम कानून को बखूबी मानते हो सभी के साथ
भाईचारा निभाना जानते हो तभी बड़े होकर इस गणतंत्र के जिम्मेदार नागरिक कहला
सकेंगे अगर सभी लोग ऐसा करें तभी सही मायने में हमारा देश सबके लिए आदर्श राष्ट्र
बनेगा जैसा यह 1 दिन में नहीं हो सकता छोटे-छोटे कदमों
से तुम्हें शुरुआत करनी होगी।
गणतंत्र
दिवस पर निबंध
26 जनवरी 1950 का दिन सभी भारतवासियों के लिए सबसे शुभ और खास दिन था क्योंकि इस दिन भारत
का संविधान लागू हुआ था। 26 जनवरी 1950 को हमारे भारतीय गणतंत्र के जन्म से अब तक हमारा देश अनेक रुकावटो और
बाधाओं को पार करता हुआ भव्यता के साथ प्रगति के रास्ते पर आगे बढ़ रहा है इस
दौरान अपने देश को एक सफल गणतंत्र देश बनाने में हमारे देश के कई वीर सिपाहियों ने
अपने प्राणों की आहुति दी है रिपब्लिक डे उन शहीदों के प्रति सम्मान व्यक्त करने
और श्रद्धांजलि देने का वह दिन है जहां देश की सुरक्षा के लिए तैनात जवानों को
अशोक चक्र , परमवीर चक्र और महावीर चक्र से सम्मानित किया जाता है गणतंत्र दिवस के
मौके पर हमारा परिचय हमें गणतंत्र के उन परम वीर योद्धा के शौर्य से करवाने जा रहे
हैं जिन्हें जो अदम्य साहस और शौर्य दिखाने के लिए परम वीर चक्र से सम्मानित किया
गया है देश की 21 वीरों को अब तक जो सर्वोच्च वीरता
पुरस्कार मिल चुका है।
गणतंत्र
दिवस समारोह - गणतंत्र दिवस वैसे तो पूरे देश में मनाया जाता है इसका मुख्य समारोह
देश की राजधानी दिल्ली में भव्यता के साथ मनाया जाता है सबसे पहले देश के अमर
शहीदों को राजपथ स्थित अमर जवान ज्योति पर प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति श्रद्धांजलि
देते हैं फिर जल , थल और वायु तीनों सेनाओं की टुकड़ीयां बैंडों की धुन पर मार्च
करती है पुलिस के जवान विभिन्न प्रकार के अस्त्र - शास्त्र टैंक मिसाइल और वायुयान
इत्यादि से कई तरह के प्रदर्शन करते हैं वह देशवासियों को जो भरोसा दिलाते हैं कि
वह सशक्त है और उनकी सुरक्षा में पूरी तरह सक्षम है उसके पश्चात देश के हर राज्य
की झांकियां निकाली जाती है जिससे रंग-बिरंगे भारत के बारे में पता चलता है।
गणतंत्र
दिवस का अर्थ है भारत की आजादी इस दिन भारत का संविधान लागू हुआ था। इस दिन भारत
की राजधानी में विशेष परेड का आयोजन करवाया जाता है राष्ट्रपति परेड की सलामी लेते
हैं राजपथ पर परेड का बड़ा ही सुंदर आयोजन किया जाता है। भारतीय सेना की तीनों
टुकड़िया इस आयोजन में हिस्सा लेती है।
इस दिन
सरकारी दफ्तरों स्कूलों और दिल्ली में राजपथ पर राष्ट्रीय झंडा फहराया जाता है। इस
दिन स्कूलों में बच्चों के कई खास प्रोग्राम आयोजित करवाए जाते हैं।
इस पावन
पर्व के पीछे अनेक वीर नौजवानों ने अपना बलिदान दिया जिसमें से एक सुभाष चंद्र बोस
भी है नेताजी ने अंग्रेजों से लड़ने के लिए अपनी फौज खड़ी की थी।
26 जनवरी को देश के प्रधानमंत्री द्वारा
इंडिया गेट पर अमर जवान ज्योति पर शहीदों को श्रद्धांजलि भेंट की जाती है अमर जवान
ज्योति दिल्ली स्थित इंडिया गेट पर बना भारत का सबसे बड़ा भव्य जो प्रथम विश्व
युद्ध और अफगान युद्ध में शहीद हुए लगभग सत्तर हजार सैनिकों की याद में बनाया गया था 1972 से जहां लगातार अमर जवान ज्योति शहीदों की प्रज्जवलित है काले संगमरमर से
बने स्मारक के बीच झुका कर रखी गई राइफल और उस पर टंगी सैनिक टोपी उन सैनिकों की
शहादत का प्रतीक है।
सन 1950 में जब भारतीय संविधान बनकर तैयार हो गया था तो यह विचार किया गया कि इसे
किस तारीख को लागू किया जाए विचार-विमर्श करने के पश्चात छ्ब्बी जनवरी की तारीख को
तय किया गया संविधान के लागू होते ही 26 जनवरी 1950 को डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद ने राष्ट्रपति की शपथ ग्रहण की। उस दिन
राष्ट्रपति भवन के दरबार हाल में देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद ने
हमारे देश को संपूर्ण प्रभुत्व संपन्नता गणराज्य की घोषणा की इसी दिन राजगोपालाचारी ने देश को गणराज्य संबोधित करते
हुए “दैट इज भारत” तो राष्ट्रपति भवन तालियों की आवाज से गूंज उठा। इसके पश्चात
इक्कीस तोपों की सलामी भी दी गई राष्ट्रपति ने देश के नाम प्रथम संबोधन किया दरबार
हाल के बाहर अपनी बग्गी में बैठकर हजारों लोगों के बीच से गुजरते हुए 5 मील की दूरी तय करके राष्ट्रपति स्टेडियम पहुंचे। वहां झंडा फहराया गया और सैनिकों
को सलामी ली इस प्रकार यह दिन हमारे लिए राष्ट्रीय पर्व दिवस बन गया।
15 अगस्त 1947 को आजादी प्राप्ति के पश्चात भी हमारा शासन उसी संविधान द्वारा चलाया जा
रहा था जिसे ब्रिटिश सरकार द्वारा बनाया गया था संविधान लागू होने से भारत एक
गणतंत्र देश बन गया आखिर 26 जनवरी 1950 से देश में शासन की शक्ति जनता के हाथों में आ गई।
भारतीय
संविधान का निर्माण - भारत रत्न डॉक्टर भीमराव अंबेडकर की अध्यक्षता मैं भारतीय
संविधान का निर्माण किया गया जिसमें 395 अनुच्छेद और 8 अनुसूचियां हैं। इसे 211 विशेषज्ञों द्वारा 2 वर्ष 11 महीने और 18 दिनों के परीक्षण के पश्चात तैयार किया
गया। हमारा संविधान संसार के सबसे बड़े लिखित संविधान के रूप में जाना जाता है वक्त
और जरूरत के अनुसार इसमें अनेक संशोधन किए गए पर उसके मूलभूत आदर्शों मूलभूत
विचारधारा सिद्धांतों और प्राथमिकताओं में कहीं भी परिवर्तन देखने को नहीं मिला।
भारत 1950 से गणतंत्र दिवस मनाता चला रहा है क्योंकि इस दिन भारत का संविधान लिखा गया
था। भारत के इतिहास में इस दिन का विशेष महत्व है क्योंकि यह हमें भारतीय आजादी से
जुड़े सभी संघर्षों के बारे में बताता है। भारत को 15 अगस्त 1947 को ब्रिटिश सरकार से आजादी मिली किंतु
लगभग इसके 3 सालों के बाद भी भारत का शासन ब्रिटिश
सरकार द्वारा लागू किए गए नियमों के मुताबिक ही चलता रहा। इस दिन को रिपब्लिक डे
के नाम से भी जाना जाता है यह दिन हर भारतीयों के लिए मायने रखता है क्योंकि इस
दिन भारत गणतंत्र का देश घोषित किया गया।
रिपब्लिक डे के शुभ अवसर पर भारतीय सेना की तीनों टुकड़ियों द्वारा दिल्ली में परेड की जाती
है। जो दिल्ली के विजय चौक से प्रारंभ होकर इंडिया गेट पर जाकर खत्म होती है इस
दौरान भारत की जल ,थल और वायु सेना द्वारा राष्ट्रपति को सलामी दी जाती है साथ ही
सेना के द्वारा अत्याधुनिक हथियारों एवं टैंकों का प्रदर्शन भी किया जाता है। जो
भारतीय राष्ट्रीय शक्ति का प्रतीक है। तीनों सेनाओं की परेड करने के पश्चात सभी
राज्यों द्वारा झांकियां निकाली जाती है जो अपनी संस्कृति और परंपरा को सबके सामने
पेश करती है। इसके पश्चात भारतीय वायु सेना के द्वारा हमारे राष्ट्रीय झंडे तिरंगा
के रंगो की तरह अकाश से फूलों की बारिश की जाती है।
इस दिन
स्कूल और कालेजों में भी कई तरह के आयोजन करवाए जाते हैं जिनमें से मुख्य रूप से
खेल , नाटक का भाषण नृत्य आदि कार्यक्रम करवाए जाते हैं। इस दिन हमें शपथ लेनी
चाहिए कि हम सदैव अपने देश के संविधान की सुरक्षा करेंगे और देश में शांति बनाए
रखेंगे और देश के विकास में अपना महत्वपूर्ण योगदान अदा करेंगे।
Republic Day 26 जनवरी को भारत में जगह जगह मनाया जाता
है। जे खुशी और उत्साह का दिन होता है। इस दिन भारत के कानून की किताब लिखी गई जिस
कारण यह दिवस से मनाया गया। भारत सरकार हर वर्ष नई दिल्ली में एक खास कार्यक्रम
आयोजित करती है जिसमें इंडिया गेट पर एक विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है।
गणतंत्र दिवस कार्यक्रम सुबह शुरू हो जाता है जिसे देखने के लिए लोग राजपथ पर
इकट्ठा होने आरंभ हो जाते हैं। विजय चौक से भारतीय सेना की तीनों टुकड़िया कई तरह
के करतब दिखाती है। कई प्रकार के अस्त्र और शस्त्र उनका भी प्रदर्शन किया जाता है।
भारत के सभी राज्य अपनी कला संस्कृति और पहनावे का प्रदर्शन करते हैं। इस उत्सव की
शुरुआत राष्ट्रपति के द्वारा झंडा रोहण और राष्ट्रगान के साथ किया जाता है।
गणतंत्र दिवस भारत का राष्ट्रीय पर्व है जिसे 26 जनवरी को धूमधाम के साथ मनाया जाता है क्योंकि इस दिन भारत का कानून लागू
हुआ था जिसे सन 1950 में लागू किया गया था। जिस दिन हमें
भारत में स्थापित संविधान का महत्व समझ आता है क्योंकि भारत के स्वतंत्रता मैं
संघर्ष के साथ ही हमारे देश के संविधान का एक बहुत बहुमूल्य और बड़ा योगदान है यह
ऐसा पर्व है जो हमें हमारे देश के गणतंत्र के महत्व और इसके इतिहास को हमारे साथ
सांझा करता है।
इस दिन
भारतीय सरकार द्वारा ब्रिटिश शासन के नियमों को हटाकर भारत का कानून लागू किया गया
था तभी से इस के संदर्भ में इसे सम्मान देने के
लिए हर वर्ष यह दिन 26 जनवरी वाले दिन मनाया जाता है। इस दिन से जुड़ा एक रोचक
तथ्य और भी है कांग्रेस ने पहली बार 26 जनवरी 1930 को पूर्ण स्वराज की मांग की थी।
गणतंत्र
दिवस का महत्व - गणतंत्र दिवस का यह राष्ट्रीय पर्व भारत वासियों के अंदर
आत्मविश्वास भरने का कार्य करता है और हमें पूर्ण आजादी की अनुभूति भी करवाता है
यही वजह है कि इस दिन को पूरे देश भर में बड़े ही जोश और धूमधाम से मनाया जाता है।
यह दिन हमारे लिए बड़ा ही खास दिन होता है क्योंकि यह वह दिवस जो हमारे संविधान के
महत्व को समझता है। भले ही भारत को आजादी 15 अगस्त 1947 को हासिल हुई किंतु इसे पूर्ण आजादी की
प्राप्ति छ्व्वी जनवरी सन 1950 को मिली।
Republic Day par
nibandh
भारत को
आजादी 15 अगस्त 1947 को मिली किंतु इसे पूर्ण रूप से आजादी 26 जनवरी सन 1950 को मिली। क्योंकि इस दिन ब्रिटिश सरकार
द्वारा बनाए गए नियमों (rules) को हटा दिया गया और भारतीय कानून लागू कर दिया गया।
जो कि भारत वासियों की स्वतंत्रता का प्रतीक माना गया। इसलिए यह खास दिन हर साल
बड़े ही हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। इसीलिए हमें सभी को इस दिन को खास
सम्मान देना चाहिए और इसके साथ मिलकर चलना चाहिए ताकि हमारे देश की एकता इसी
प्रकार से बनी रहे।
गणतंत्र
दिवस कोई आम दिनों में से नहीं है यह ऐसा दिन है जब हमारे भारत देश को पूरी तरह से
आजादी की प्राप्ति हुई। भारत में 3 राष्ट्रीय पर्व मनाए जाते हैं जैसे गांधी जयंती गणतंत्रता दिवस और
स्वतंत्रता दिवस यह तीनों ही भारत के लिए खास दिन होते हैं। जिस दिन भारत के लोगों
में एकता की भावना पैदा करता है और उन सभी लोगों को आजादी देता है जिससे वे आजाद
रहे और उन्हें किसी तरह के बंधन में नहीं बांधा गया।
दिल्ली
के राजपथ इस दिन झांकियां और परेड निकाली जाती है इस दिन देशभर में छुट्टी रहती है
सरकारी दफ्तर स्कूल और कॉलेज बंद रहते हैं कई स्कूलों और कॉलेजों में इस दिन 26
जनवरी का खास प्रोग्राम भी करवाया जाता है जिसमें विद्यार्थी हिस्सा लेते हैं और
कई तरह के इस दिवस से संबंधित नाटक , कविता जा गाना आदि भी करते हैं। यह दिन हमें
देश के संविधान का महत्व समझाता है यही वजह है कि इस दिन पूरे देश भर में इसे इतने
ही धूमधाम से मनाया जाता है।
गणतंत्र
दिवस हमें हमेशा दूसरों का सम्मान करना और एकता के बंधन में रहना सिखाता है।
हजारों लोगों की कुर्बानी देने के पश्चात भारत को आजादी मिली। जिससे भारत राष्ट्र
गणतंत्र देश बना। देश के महान वीरों ने अपनी जान गवा कर देश को आजादी दिलाई। जैसे
भगत सिंह , सुभाष चंद्र बोस बाल गंगाधर तिलक लाला लाजपत राय आदि ने अपनी जान की
बाजी लगा कर देश को आजाद करवाया।
Paragraph on Republic Day in Hindi
भारत
लंबे समय तक अंग्रेज शासन का गुलाम रहा इस लंबे समय के दौरान भारत के लोग
अंग्रेजों द्वारा बनाए गए कानूनों को मानने के लिए मजबूर थे। भारत के महान
सेनानियों द्वारा लंबे संघर्ष के पश्चात आखिरकार 15 अगस्त 1947 को भारत को स्वतंत्रता हासिल हुई।
आजादी के लगभग ढाई वर्षों के बाद भारत ने अपना संविधान लागू किया। जिस कारण भारत
लोकतांत्रिक देश बन पाया। लोकतांत्रिक देश घोषित करने के साथ ही हमारे देश के
लोगों द्वारा हर वर्ष 26 जनवरी वाले दिन ये दिवस से मनाया जाता
है। 26 जनवरी की तैयारी लगभग 1 महीने पहले से ही आरंभ हो जाती है इसे सुरक्षा कारणों से इंडिया गेट पर
लोगों की आवाजाही और वहां पर आने जाने से रोक लगा दी जाती है ता जो इस दौरान किसी
भी तरह की कोई दुर्घटना ना घट सके।
यह दिवस भारत के लोगों में एक नया उत्साह और नई शक्ति का संचार करता है। इस दिन का
काफी महत्व है भारत में रहने वाले किसी भी धर्म जाति या संप्रदाय के हों उसका
महत्व सभी के लिए बराबर माना जाता है। आजादी के कुछ वर्षों के पश्चात भारतीय
संविधान का निर्माण किया गया और 26 जनवरी जनवरी को इसे लागू कर दिया गया।
गणतंत्र
दिवस भारत में दिल्ली के राजपथ पर उल्लास और हर्ष के साथ मनाया जाता है इस दिन सभी
सरकारी कार्यालयों पर देश का झंडा फहराया जाता है। इसे दिन देश की सेना परेड
निकालती है। जिसमें कई प्रकार के खतरनाक और उत्साहित स्टंट किए जाते हैं जिन्हें
देखने के लिए लोगों की भीड़ जुट जाती है। इसके अलावा हर राज्य की झांकियां निकाली
जाती है जिसमें वह अपनी संस्कृति और पहरावा शो करते हैं।
सबसे
पहले राजपथ पर राष्ट्रपति द्वारा राष्ट्रीय ध्वज (national flag) फहराया जाता है
इसके पश्चात इक्कीस तोपों की सलामी भी दी जाती है जल सेना , वायु सेना और थल सेना
के नौजवानों राजपथ पर मार्च करते हुए राष्ट्रपति को सलामी देकर आगे बढ़ते है।
इसके
अलावा इस शुभ अवसर पर विमानों के द्वारा फूलों की बारिश की जाती है और
अस्त्र-शस्त्र टैंक और मिसाइलों आदि का प्रदर्शन भी दिखाया जाता है। इस कार्यक्रम
को बच्चे नौजवान और बड़े सभी उम्र के लोग देखने आते हैं। उस वक्त का आयोजन बड़ा ही
भव्य होता है। गणतंत्र दिवस की परेड को टीवी पर लाइव भी देखा जा सकता है।
इसी तरह
भारत का जो राष्ट्रीय पर्व हर भारतवासी के लिए प्रतिष्ठा और सम्मान का प्रतीक है।
यह दिवस हमें उन महान लोगों की याद दिलाता है जिन्होंने भारत की स्वतंत्रता के लिए
संघर्ष किया और अपना बलिदान देकर हमें गुलामी की जंजीरों से मुक्त कराया हर नागरिक
का कर्तव्य बनता है कि वह भारत गणराज्य की हर प्रकार से रक्षा करें।
गणतंत्र
दिवस हमारे भारत का राष्ट्रीय पर्व है दरअसल यह पर्व पूर्ण स्वराज्य की खुशहाली के
लिए मनाया जाता है यह 1950 में भारत को गणराज्य घोषित कर दिया गया
था और भारत का कानून बनाया गया। वर्ष 1930 में भारतीय नेताओं के द्वारा पहली बार ब्रिटिश सरकार से अपना देश आजाद
कराने के लिए संघर्ष का आरंभ किया गया। इस दिन पूरे भारत में एकजुट होकर आजादी के
लिए सभा बुलाई गई और जुलूस निकाले गए।
गणतंत्र
दिवस एक ऐसा फेस्टिवल है जो भारत के सभी राज्यों में मनाया जाता है किंतु यह पर्व
दिल्ली के इंडिया गेट के पास बड़े ही भव्य तरीके से आयोजित किया जाता है। क्योंकि
वहां पर शहीद सैनिकों का स्मारक बना हुआ है। इसीलिए इस अवसर पर सबसे पहले
प्रधानमंत्री इस गेट पर जल रही अमर जवान ज्योति पर शहीदों को नमन करते हैं और
उन्हें श्रद्धांजलि देते हैं। इसके पश्चात देश के नेतागण , सेना के अफसर तथा देश
की जनता इस चौक पर एकत्रित हो जाती है भारत के राष्ट्रपति द्वारा तिरंगा लहराया
जाता है और राष्ट्रीय गान “जन गन मन” भी गाया जाता है। 26 जनवरी की परेड यादगार और खास होती है। इसके बाद विभिन्न राज्यों की भव्य झांकियां
निकाली जाती है। इस अवसर पर पूरे भारत में स्कूल , दफ्तर और सरकारी दफ्तर बंद रहती है। ताकि सभी लोग इस आयोजन में शामिल हो
सकें। इसीलिए यह दिन हम सभी के लिए गौरव दिवस होता है।
हमारा
राष्ट्रीय पर्व एकता में बल है की भावना को चरितार्थ करता है ये दिवस प्रत्येक
भारती को अपनी भाषाओं , परंपराओं , रीती रिवाजों , भाषाओं , बोलियों, समर्द्ध संस्कृति और अपने धर्म पर गर्व
करना सिखाता है। इसीलिए हमें इस पर सदैव गर्व महसूस करना चाहिए और एक अच्छे और
सच्चे भारती नागरिक के रूप में अपनी पहचान बनाएं। हमें एक धर्म और एक विचारधारा की
भावना को बढ़ाएं के हम भारतीय हैं।
गणतंत्र
दिवस की सभी हमारी तरफ से दिल से शुभकामनाएं।
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